बिहार के गोपालगंज में मंगलवार शाम अनोखे सामूहिक विवाह कार्यक्रम का आयोजन हुआ, जहां एक ही परिसर में हिंदू और मुस्लिम जोड़े पारंपरिक तरीके से परिणय सूत्र में बँधे।
बाबा भूतनाथ शांति सेवा संस्थान, लामीचौर के तत्वावधान में यहाँ प्रखंड के लामीचौर पश्चिम टोला स्याही नदी के तट पर इस सामूहिक विवाह कार्यक्रम का आयोजन किया गया। पंडितों ने हिंदू जोड़ों के लिए मंत्र पढ़े तो मौलवियों ने मुस्लिम जोड़ों का निकाह कराया। इस दौरान महिलाओं के मंगल गीत भी गूँजते रहे।
वैदिक मंत्रोच्चार और कबूलनामा के बीच 21 जोड़ों की शादी संपन्न कराई गई। एक ही मंडप में एक तरफ विवाह की वेदी सजी थी तो दूसरी तरफ निकाह का कबूलनामा हो रहा था। एक तरफ वैदिक मंत्र पढ़े जा रहे थे, तो बगल में मौलाना कलमा पढ़ रहे थे।
इन 21 जोड़ों में चार मुस्लिम समुदाय के थे। बिहार के गोपालगंज और सीवान जिलों के आलावे उत्तर प्रदेश के देवरिया और कुशीनगर तथा गुजरात के कच्छ जिलों से शादी के बंधन में बंधने के लिये वर- वधू परिजनों के साथ यहां पहुंचे थे। विवाह के बाद नवदंपतियों को आशीर्वाद और उपहार दिए गए।
क्षेत्र में ऐसे अनोखे वैवाहिक कार्यक्रम की चर्चा ही रही है। वैवाहिक कार्यक्रम में शामिल होने आई समाजसेवी प्रीति किन्नर ने सभी नवदंपतियों को उपहार दिये। उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम गंगा-जमुनी तहजीब की मिसाल बनी है।