– 6 वर्ष पूर्व हुए हत्याकांड के मामले में किया गया था तलब
मुजफ्फरनगर। खतौली नगरपालिका परिषद के पूर्व चेयरमैन पारस जैन ने आज एससीएसटी कोर्ट में सरेंडर कर दिया था, अदालत ने उन्हें जमानत मिल गयी है।
खतौली के राजा बाल्मीकि हत्याकांड में नामजद होने पर पूर्व चेयरमैन पारस जैन के वारंट जारी हो गये थे, जिसमें उनके कुर्की के आदेश होने पर आज सुबह उन्हें कोर्ट में सरेंडर करने पर मजबूर होना पड़ा था।
पूर्व चेयरमैन पारस जैन ने अपने अधिवक्ता वक़ार अहमद के साथ कोर्ट में सरेंडर किया, जिनकी जमानत पर घंटो तक सुनवाई हुई और फिर कोर्ट ने उनकी याचिका पर सुनवाई करते हुए उन्हें जमानत दे दी है।
खतौली के पूर्व चेयरमैन पारस जैन ने गुरुवार को कोर्ट में सरेंडर कर दिया था, 6 वर्ष पूर्व हुए हत्याकांड के मामले में नामजद कराए गए खतौली नगर पालिका के पूर्व चेयरमैन पारस जैन के पेश न होने पर कोर्ट ने उनके गैर जमानती वारंट जारी किए थे। पारस जैन पर हत्याकांड की अपराधिक साजिश रचने का आरोप था। लेकिन विवेचना में उनका नाम निकाल दिया गया था। उसके बाद विशेष एससी-एसटी कोर्ट ने सुनवाई करते हुए उन्हें 8 तलब किया था।
5 अप्रैल 2017 को खतौली में राजकुमार उर्फ राजा वाल्मीकि की गोलियां बरसाकर हत्या कर दी गई थी। इस मामले में मृतक के भाई राणा प्रताप पुत्र बाबूलाल ने हत्याकांड के मामले में राजू वाल्मीकि पुत्र ओमप्रकाश, व दो अन्य पर हत्याकांड को अंजाम देने का आरोप लगाते हुए नगर पालिका खतौली के तत्कालीन चेयरमैन पारस जैन व जेल में निरुद्ध गोरा उर्फ गौरव पर हत्याकांड की अपराधिक साजिश रचने का आरोप लगाते हुए एफआईआर कराई थी।
इस मामले मे पुलिस ने पालिका चेयरमैन पारस जैन को हिरासत में ले लिया था, लेकिन बाद में पूछताछ कर छोड़ दिया था। विवेचना उपरांत पुलिस ने नामजद आरोपियों तथा दो अन्य दानिश व विपुल के विरुद्ध चार्जशीट कोर्ट में पेश की थी। लेकिन हत्याकांड की अपराधिक साजिश रचने के मामले में पारस जैन की संलिप्तता से इंकार करते हुए उसका नाम निकाल दिया था। वादी ने विशेष एससी-एसटी कोर्ट में प्रार्थना पत्र देकर पुलिस पर पारस जैन से उसका नाम चार्जशीट से निकाल देने का आरोप लगाते हुए 319 सीआरपीसी के तहत उसे कोर्ट में तलब करने की याचना की थी।

पूर्व चैयरमेन ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर किया सरेंडर
इस मामले में विशेष एससी-एसटी कोर्ट के जज ने दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद वादी मुकदमा के अधिवक्ता की याचना स्वीकार करते हुए नगर पालिका के पूर्व चेयरमैन पारस जैन को समन जारी कर 319 सीआरपीसी के तहत गत वर्ष आठ मार्च को कोर्ट में पेश होने के आदेश जारी किए थे। उनके अधिवक्ता एडवोकेट वकार अहमद ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट की शरण ली थी। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर पारस जैन ने गुरुवार को उनके अधिवक्ता वक़ार अहमद की मौजूदगी में  कोर्ट में सरेंडर किया जिसके बाद  , जिनकी जमानत पर घंटो तक सुनवाई हुई और फिर कोर्ट ने उनकी याचिका पर सुनवाई करते हुए उन्हें जमानत दे दी है। 

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