वरिष्ठ कांग्रेस नेता और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने कहा कि दिल्ली विधानसभा चुनाव में अरविंद केजरीवाल की जीत की उम्मीद है। कांग्रेस की चुनाव लड़ने की योजना के बावजूद, उन्होंने सुझाव दिया कि कांग्रेस-आप गठबंधन फायदेमंद हो सकता है। हालांकि, जब इसको लेकर विवाद बढ़ा तो उन्होंने सफाई भी दी। सफाई में पृथ्वीराज चव्हाण ने एक्स पर लिखा कि दिल्ली विधानसभा चुनाव पर मेरी टिप्पणी की संदर्भ से हटकर व्याख्या की गई। अगर इंडिया अलायंस मिलकर लड़ता तो अलायंस की जीत पक्की होती।
इसके आगे कांग्रेस नेता ने कहा कि अब जब सभी प्रमुख दल मैदान में हैं तो यह एक खुला चुनाव बन गया है। कांग्रेस पार्टी ने जबरदस्त गति हासिल की है और मुझे यकीन है कि हम विजयी होंगे। इससे पहेल उन्होंने कहा था कि अगर आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के बीच गठबंधन होता तो बेहतर होता। उनका मानना था कि आम आदमी पार्टी दिल्ली चुनाव जीतेगी। वहीं अशोक गहलोत ने कहा कि इस बार आम आदमी पार्टी दिल्ली चुनाव नहीं जीत पाएगी।
इस बीच, आम आदमी पार्टी नेता प्रियंका कक्कड़ ने कहा कि पृथ्वीराज चव्हाण का बयान बिल्कुल सही है। वहीं, टीएमसी और समाजवादी पार्टी के साथ-साथ उद्धव ठाकरे के गुट ने भी आम आदमी पार्टी को अपना समर्थन दिया है। महाराष्ट्र के कद्दावर कांग्रेसी नेता द्वारा दिल्ली चुनाव में हार की स्वीकारोक्ति’ और ‘महज वोट-कटवा’ के रूप में इसकी भूमिका। दोनों पार्टियां पहले से ही राजनीतिक टकराव की स्थिति में हैं, दिल्ली कांग्रेस के नेता आप सरकार के दस साल के ‘कुशासन’ पर निशाना साध रहे हैं और बाद में तालियां बजा रहे हैं।
कुछ दिन पहले, कांग्रेस के कोषाध्यक्ष अजय माकन ने आप सुप्रीमो अरविंद केजरीवाल के खिलाफ चौतरफा हमला करते हुए उन्हें राष्ट्र-विरोधी करार दिया था, जबकि आप ने सबसे पुरानी पार्टी को इसके लिए माफी मांगने का अल्टीमेटम जारी किया था। इसने भारत के दो सहयोगियों के बीच एक और भयंकर राजनीतिक लड़ाई के लिए मंच तैयार कर दिया है। पृथ्वीराज चव्हाण ने भी इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (ईवीएम) को छोड़ने की जोरदार वकालत की और पारंपरिक मतपत्रों को उलटने की मांग की।