उत्तर प्रदेश के हाथरस के सिकंदराराऊ में मंगलवार को चल रहे सत्संग में भगदड़ के मचने से अब तक 121 लोगों की मौत हो चुकी है। बुधवार को इस मामले पर योगी सरकार के मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि यह घटना बेहद दु:खद है। घटना पर आला- अधिकारी नजर बनाए हुए हैं। मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री ने भी खुद घटना का संज्ञान लिया है।
उन्होंने कहा, “जांच रिपोर्ट सामने आने के बाद घटना की पूरी जानकारी सामने आ जाएगी। हमने व्यवस्था बनाने की पूरी कोशिश की है, चाहे वह अस्पताल की हो या एंबुलेंस की। जो भी दोषी होगा, वह चाहे बाबा हो या कोई भी हो, उसके खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी।”
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को हाथरस घटनास्थल का दौरा किया और अस्पतालों में घायल व्यक्तियों से भी मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने अपने मंत्रियों और सांसद से पूरी जानकारी ली। इतना ही नहीं बुधवार को जब राज्यसभा की कार्रवाई शुरू हुई तब हाथरस भगदड़ दुर्घटना में हुई जानमाल की हानि पर शोक व्यक्त करने के लिए मौन रखा गया।
विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने हाथरस का मुद्दा उठाते हुए कानून बनाने की मांग करते हुए गृह मंत्री के बयान की मांग की है। कांग्रेस सांसद के सुरेश ने कहा कि यह उत्तर प्रदेश शासन- प्रशासन और सरकार की विफलता है। मैं मुआवजे की राशि 2 लाख से बढ़ाकर 25 लाख करने का अनुरोध करता हूं।
दरअसल हाथरस जनपद के थाना सिकंदराराऊ क्षेत्र के गांव रतीभानपुर में आयोजित भोले बाबा के सत्संग में मंगलवार को अचानक भगदड़ मच गई। भगदड़ में अब तक 121 लोगों ने अपनी जान गंवा दी है और वहीं 28 लोग घायल हैं।