कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 8 मई को कहा कि सिंधु नदी के जल को निलंबित करने से भारतीय किसानों को लाभ होगा, क्योंकि सिंचाई के लिए अधिक पानी उपलब्ध होगा। चौहान ने कृषि-खरीफ अभियान 2025 पर राष्ट्रीय सम्मेलन में कहा कि सरकार पानी का उपयोग इस तरह से करने के लिए अल्पकालिक, मध्यम अवधि और दीर्घकालिक योजना पर काम करेगी, जिससे भारतीय किसानों को मदद मिलेगी।

शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि हम सिंधु जल संधि के भेदभावपूर्ण खंड को रद्द करने के लिए प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त करते हैं, जिसके तहत 80% पानी पाकिस्तान को जाता था और केवल 20% भारत के पास रहता था। इस निर्णय से पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और लद्दाख के किसानों को सीधा लाभ होगा। उन्हें सिंचाई के लिए अधिक पानी मिलेगा, खेती योग्य भूमि बढ़ेगी और जलविद्युत परियोजनाओं से सस्ती और अधिक विश्वसनीय बिजली मिलेगी। 

शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि आईसीएआर के सभी 16,000 कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिकों को खेतों में तैनात किया जाएगा। वे चार लोगों की टीम बनाएंगे और राज्य कृषि विभागों और केंद्र सरकार के अधिकारियों और प्रगतिशील किसानों के साथ मिलकर इस खरीफ सीजन में 15 दिनों तक रोजाना तीन स्थानों का दौरा करेंगे। वे गुणवत्तापूर्ण बीजों, जलवायु-अनुकूल फसल किस्मों और सर्वोत्तम कृषि पद्धतियों के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए किसानों से सीधे जुड़ेंगे। प्रयोगशाला और भूमि के बीच संबंध को मजबूत करने की दिशा में यह एक ऐतिहासिक कदम है।

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