अयोध्या में प्रभु श्री राम आज अपने भव्य मंदिर में विराजमान हो गए हैं। पीएम मोदी के हाथों रामलला का प्राण प्रतिष्ठा हुआ। इसे लेकर देश से लेकर विदेशों तक के सभी रामभक्तों में उत्साह का माहौल है। इस पल का सभी रामभक्तों को कई सालों से इंतजार था।
अयोध्या में बने प्रभु श्रीराम का भव्य मंदिर बनाने में पूरे देश का योगदान रहा है। इस बारे में श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने जानकारी दी।इंडिया टुडे के मुताबिक राम मंदिर निर्माण के लिए संगमरमर राजस्थान के भरतपुर से और सफेद संगमरमर राजस्थान के मकराना से आया है। इसके अलावा मिट्टी छत्तीसगढ़ से, ग्रेनाइट तेलंगाना और कर्नाटक से, लकड़ी महाराष्ट्र के बल्हारशाह से आई है।

राय ने बताया कि राम मंदिर के लिए सोना मुंबई से आया और मूर्ति में इस्तेमाल किया गया पत्थर और भगवान राम की मूर्ति बनाने वाले दोनों कर्नाटक के मैसूर से हैं। हैदराबाद की अनुराधा टिंबर ने दरवाजों की डिजाइन तैयार की है। वहीं, देशभर के मजदूरों ने मंदिर को बनाने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने मंदिर को तैयार करने में दिन-रात मेहनत की।उनके सभी कर्मचारी कन्याकुमारी से आए थे।

राय ने बताया कि मंदिर में विराजमान रामलला के लिए कपड़े मनीष त्रिपाठी नाम के एक व्यक्ति ने बनाए और मूर्ति के लिए आभूषण जयपुर की एक फर्म की ओर से बनाए गए। राम मंदिर के लिए कई अन्य वस्तुएं भी दान में आई हैं।

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