अयोध्या में राम जन्मभूमि पर मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम का भव्य मंदिर तेजी से बन रहा है। मंदिर निर्माण के दौरान श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट सबसे ज्यादा प्राथमिकता इसकी मजबूती को दे रहा है। भगवान राम के मंदिर की आयु 1000 वर्षों तक रहे, किसी भी परिस्थिति में मंदिर सुरक्षित रहे, इसके लिए सभी वैज्ञानिक पद्धति का इस्तेमाल काबिल इंजीनियरों द्वारा किया जा रहा है। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट समय-समय पर देश के नामचीन वैज्ञानिकों से मंदिर की मजबूती और आयु कितनी होगी इसके लिए राय मशवरा लेती रहती है। अनुमान के मुताबिक अगले साल जनवरी महीने के अंत में मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा हो जाएगी और आम भक्तों के लिए खोल दिया जाएगा।

पत्थरों को आपस में जोड़ने के लिए तांबे की पत्ती का इस्तेमाल किया जा रहा है। ईट की पकड़ मजबूत करने के लिए इसका इस्तेमाल हो रहा है। गर्भग्रह में भगवान श्री राम के बालरूप की दो मूर्तिया लगेंगी। एक मूर्ति चल होगी और दूसरी अचल। फ़िलहाल अस्थाई राममंदिर जो में राम जी की भाइयों के साथ बैठी अवस्था में मूर्ति है वह चल मूर्ति होगी, यानी इस मूर्ति की पूजा होगी। वहीं दूसरी अचल मूर्ति होगी, जिसका भक्त सिर्फ दर्शन कर सकेंगे। इस मूर्ति को अभी तैयार किया जा रहा है।

By admin

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Verified by MonsterInsights