मध्य प्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनाव में शुरुआती दौर में कमजोर और शांत नजर आ रही बहुजन समाज पार्टी ने भी अपनी रणनीति पर काम शुरू कर दिया है। उसका सारा जोर उत्तर प्रदेश की सीमावर्ती सीटों पर है।
बसपा सुप्रीमो मायावती इन इलाकों में नौ जनसभाएं करने वाली हैं। मध्य प्रदेश का ग्वालियर-चबल बुंदेलखंड और विंध्य वह इलाका है जो उत्तर प्रदेश की सीमा को स्पर्श करता है। यहां दलित, आदिवासी और पिछड़े वर्ग के मतदाता निर्णायक भी हैं।
बसपा, सपा का इन क्षेत्रों में वोट बैंक है और ये अपनी इस ताकत को और बढ़ाने की कोशिश में लगे हुए हैं। इन दोनों दलों ने बड़ी संख्या में उम्मीदवार भी इन इलाकों में उतारे हैं।
बसपा ने मध्य प्रदेश के इन इलाकों में ही सबसे ज्यादा उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है और इनमें अधिकतम वे उम्मीदवार हैं जो कांग्रेस और भाजपा के बागी हैं।
बसपा सुप्रीमो मायावती भी इन इलाकों का दौरा करने वाली है और अपनी ताकत को बढ़ाने की कोशिश में लगी है।
मायावती आगामी दिनों में नौ जनसभाओं को संबोधित करने वाली हैं। ये जनसभाएं ग्वालियर-चंबल के अशोक नगर, दतिया, भिंड व मुरैना, बुंदेलखंड के सागर, दमोह, छतरपुर और निवाड़ी में है, वही विंध्य क्षेत्र के सतना, रीवा जिलों में भी जनसभाएं प्रस्तावित हैं।