पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी को हाईकोर्ट से झटका लगा। बस्ती में हुए अपहरण मामले में कोर्ट ने किसी भी तरह के हस्तक्षेप से इनकार करते हुए बस्ती जिला जज के आदेश को बरकरार रखा। ऐसे में अब अमरमणि त्रिपाठी को बस्ती जिला न्यायालय में सरेंडर करना होगा। जिला जज द्वारा ही उनकी जमानत पर फैसला लिया जाएगा। मामले में सुनवाई करते हुए यह फैसला जस्टिस संजय कुमार सिंह की अदालत ने शुक्रवार को सुनाया।
यह था पूरा मामला
छह दिसंबर 2001 को बस्ती के कोतवाली थानाक्षेत्र के व्यापारी धर्मराज मध्देशिया के बेटे राहुल का अपहरण हुआ था। मामले में पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी भी आरोपी थे। इसी केस में बस्ती जिला जज द्वारा उन्हें सरेंडर करने का आदेश दिया गया था। साथ ही यह भी कहा गया था कि यदि वो सरेंडर नहीं करते हैं तो उनकी संपत्ति कुर्क की जाएगी। इस आदेश के खिलाफ पूर्व मंत्री द्वारा हाईकोर्ट में अर्जी दी गई थी, लेकिन उच्च न्यायालय ने उसे खारिज कर दिया।
छह दिसंबर 2001 को बस्ती के कोतवाली थानाक्षेत्र के व्यापारी धर्मराज मध्देशिया के बेटे राहुल का अपहरण हुआ था। मामले में पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी भी आरोपी थे। इसी केस में बस्ती जिला जज द्वारा उन्हें सरेंडर करने का आदेश दिया गया था। साथ ही यह भी कहा गया था कि यदि वो सरेंडर नहीं करते हैं तो उनकी संपत्ति कुर्क की जाएगी। इस आदेश के खिलाफ पूर्व मंत्री द्वारा हाईकोर्ट में अर्जी दी गई थी, लेकिन उच्च न्यायालय ने उसे खारिज कर दिया।