उत्तर प्रदेश के हाथरस में बहुचर्चित छात्र कृतार्थ हत्याकांड में अब आया नया मोड सामने आया है। तीन महीने पहले डीएल पब्लिक स्कूल के हॉस्टल में कक्षा दो के छात्र कृतार्थ की हत्या उसके साथ हॉस्टल में ही रहने वाले मथुरा निवासी छात्र ने की थी। पुलिस ने चार्जशीट में मथुरा निवासी छात्र को दोषी माना है। उसने लाल गमछे से गला दबाकर कृतार्थ की हत्या की थी। पुलिस ने उसे बाल सुधार गृह भेज दिया है। बलि के लिए हत्या की कहानी विवेचना में झूठी साबित हुई है।
बता दें कि नोएडा की एक कंपनी में साफ्टवेयर इंजीनियर श्रीकृष्ण का नौ वर्षीय बेटा कृतार्थ इसी स्कूल के छात्रावास में रहता था। 23 सितंबर की सुबह पांच बजे योग सिखाने वाले शिक्षक ने सभी बच्चों को दूसरी मंजिल से नीचे योग करने के लिए बुलाया तो कृतार्थ नीचे नहीं आया। जब उसे उठाने के लिए सब ऊपर पहुंचे तो बच्चा अचेत पड़ा हुआ था। छात्र की गला घोंटकर हत्या की गई थी। इस मामले में पुलिस ने स्कूल प्रबंधक दिनेश बघेल, उसके पिता जशोदन सिंह उर्फ भगतजी, शिक्षक रामप्रकाश सोलंकी, लक्ष्मण सिंह व वीरपाल सिंह को गिरफ्तार कर जेल भेजा था। प्रारंभिक जांच में पुलिस को पता लगा था कि जशोदन सिंह तांत्रिक है। छात्र की बलि देने के उद्देश्य से आरोपित उसे उठाकर ले जा रहे थे। बच्चे के जागने पर उसकी हत्या कर दी गई।
इस मामले की जांच कर रही पुलिस ने इस हत्या का खुलासा किया है। पुलिस की जांच में साथी छात्रों ने कक्षा आठवीं के 14 वर्षीय छात्र द्वारा हत्या की बात बताई। पूछताछ में आरोपी छात्र ने बताया कि उसने इसी वर्ष डीएल पब्लिक स्कूल के हॉस्टल में प्रवेश लिया था। स्कूल में उसका मन नहीं लग रहा था। वह घर जाना चाहता था। उसने 22 सितंबर की दोपहर सीसीटीवी कैमरों के तार निकाल दिए। रात में सब सो रहे थे। वह फर्श पर सो रहे कृतार्थ के पास जाकर लेट गया और कुछ देर बाद उसका गला घोंट दिया। हत्या के बाद वह दूसरे छात्र के बिस्तर पर जाकर सो गया। घटना के बाद से ही स्कूल बंद है। वहीं, न्यायालय ने जेल भेजे गए विद्यालय संचालक समेत पांच लोगों को जमानत दे दी है।