कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने सोमवार को कहा कि अगर राज्य सरकार ने पूर्ववर्ती वसुंधरा राजे सरकार के कार्यकाल में हुए भ्रष्टाचार के मामलों की जांच सहित उनकी तीन मांगें नहीं मानीं तो वे पूरे राज्य में आंदोलन करेंगे। पायलट ने इसके लिए राज्य की कांग्रेस सरकार को इस महीने के आखिर तक यानी 15 दिन का समय दिया है। पायलट ने यहां जयपुर में अपनी पांच दिन की जनसंघर्ष पद यात्रा के समापन अवसर पर आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए यह घोषणा की। उन्होंने कहा कि उनकी पहली मांग है कि राज्य सरकार राजस्थान लोकसेवा आयोग (RPSC) को बंद कर, पूरे तंत्र का पुनर्गठन करें, नए कानून मापदंड बनें और पारदर्शिता से लोगों का चयन हो।
उन्होंने कहा, ‘‘मेरी दूसरी मांग है कि पेपर लीक से प्रभावित प्रत्येक नौजवान को उचित आर्थिक मुआवजा दिया जाना चाहिए। तीसरी मांग है कि पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के खिलाफ लगे आरोपों की उच्च स्तरीय जांच कराई जाए।” पायलट ने आगे कहा, ‘‘इस महीने के आखिर तक, नौजवानों के हित में और भ्रष्टाचार के खिलाफ, ये तीनों मांगें अगर नहीं मानी गईं तो….मैं आप लोगों को बताना चाहता हूं कि अभी मैंने गांधीवादी तरीके से (एक दिवसीय) अनशन किया, जनसंघर्ष यात्रा निकाली है। महीने के आखिर तक अगर कार्रवाई नहीं होती है तो मैं पूरे प्रदेश में आंदोलन करूंगा आप लोगों के साथ। जनता के साथ रहेंगे …गांव, ढाणी, शहरों में हम पैदल चलेंगे। जनता को साथ लेकर चलेंगे, न्याय करवाएंगे। आपकी (लोगों की) बात को रखते रहेंगे।” इसके साथ ही पायलट ने कहा कि उनकी निष्ठा और ईमानदारी पर उनके घोर विरोधी भी उंगली नहीं उठा सकते। उन्होंने कहा, ‘‘मैं किसी पद पर रहूं या नहीं, मैं राजस्थान की जनता की सेवा अपनी आखिरी सांस तक करता रहूंगा।’
उल्लेखनीय है कि पायलट ने पांच दिन की अपनी इस पदयात्रा की शुरुआत बृहस्पतिवार को अजमेर से की। इसे राजस्थान में इस चुनावी साल में, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और कांग्रेस आलाकमान पर दबाव बनाने की रणनीति के रूप में देखा जा रहा है। राज्य में इस साल के आखिर में विधानसभा चुनाव होने हैं और कांग्रेस यहां अपनी सरकार दोबारा बनने की उम्मीद कर रही है। जनसभा में बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे। इसमें राज्य सरकार के मंत्री राजेंद्र गुढ़ा व हेमाराम चौधरी के साथ साथ विधायक जीआर खटाना, वेद सोलंकी, सुरेश मोदी, राकेश पारीक, हरीश मीणा, खिलाड़ीलाल बैरवा, गिर्राज मलिंगा, दीपेंद्र सिंह शेखावत, मुकेश भाकर, इंद्राज गुर्जर और रामनिवास गावड़िया भी शामिल हुए।