दिल्ली में कोचिंग सेंटर में हुए हादसे के बाद यूपी सरकार भी अपने यहां चल रही बेसमेंट की गतिविधियों को लेकर अलर्ट हो गई है। उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश में बिल्डिंग के बेसमेंट में संचालित हो रहे कोचिंग सेंटर या बेसमेंट निर्माण के लिए गाइडलाइन जारी की है। उत्तर प्रदेश के आवास एवं शहरी नियोजन के प्रमुख सचिव नितिन रमेश गोकर्ण ने प्रदेश भर के विकास प्राधिकरणों को निर्देश देते हुए सभी बेसमेंट में अवैध गतिविधियों को रोकने का आदेश दिया है। उसके बाद प्रदेश के सभी जिला अधिकारी और शिक्षा विभाग अलर्ट हो गए है। साथ ही शहर में चल रहे अवैध कोचिंग संचालकों के खिलाफ कार्रवाई शुरू कर दी है। इसी कड़ी में राजधानी के कपूरथला में पांच कोचिंग लाइब्रेरी सील कराई गई है।
वहीं गौतमबुद्धनगर जिला प्रशासन की एक संयुक्त टीम ने बिना पंजीकरण संचालित किए जा रहे एक कोचिंग सेंटर को मंगलवार को सील कर दिया जबकि दो अन्य के ‘बेसमेंट’ को सील कर दिया गया। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। प्रशासन ने बताया कि दिल्ली के राव आईएएस स्टडी सर्कल की इमारत के ‘बेसमेंट’ में पानी भर जाने से लोक सेवा की तैयारी कर रहे तीन अभ्यर्थियों की मौत होने के बाद शिक्षा विभाग, नोएडा प्राधिकरण, जिला प्रशासन, शिक्षा विभाग और अग्निशमन विभाग के दलों ने सेक्टर-62 स्थित चार कोचिंग सेंटर की जांच की।
अधिकारियों ने के मुताबिक, बिना पंजीकरण के संचालित किए जा रहे ‘करियर लॉन्चर कोचिंग सेंटर’ को सील कर दिया गया जबकि ‘आकाश इंस्टिट्यूट’ और ‘फिटजी’ संस्थानों की इमारतों के ‘बेसमेंट’ सील किए गए हैं, क्योंकि इनमें पार्किंग की जगह शैक्षणिक कार्य हो रहा था। अग्निशमन विभाग के मुताबिक, नोएडा-ग्रेटर नोएडा में कुल 51 कोचिंग सेंटर का संचालन हो रहा है। मुख्य दमकल अधिकारी प्रदीप कुमार चौबे ने बताया कि दिल्ली की घटना के बाद जनपद के कोचिंग सेंटर की जांच की जा रही है और मंगलवार को चार कोचिंग सेंटर में टीम पहुंची और एक कोचिंग को पूरी तरह से सील कर दिया गया तथा दो अन्य के ‘बेसमेंट’ को सील किया गया है।
उन्होंने कहा कि यह अभियान लगातार चलेगा। वहीं, गौतमबुद्ध नगर के जिला विद्यालय निरीक्षक (डीआईओएस) डॉ धर्मवीर सिंह ने कहा कि कोचिंग संचालक सुरक्षा को सबसे ऊपर रखें और सभी मानकों को पूरा कर संचालन करें। उन्होंने कहा कि पहले दिन की जांच में तीन जगह कार्रवाई की गई जबकि चौथे कोचिंग सेंटर को चेतावनी दी गई है।