वहीं कांग्रेस नेता सलमान खुर्शीद ने कहा कि कि संविधान सर्वोपरि है और इसका सम्मान हर चीज से ऊपर होना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री भी इस सिद्धांत को मानते हैं। यह बयान पीएम मोदी के स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से दिए गए बयान के बाद आया है।
लोकसभा में नेता नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने देशवासियों को स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं देते हुए संवैधानिक और लोकतांत्रिक मूल्यों के महत्व को बता है। उन्होंने कहा कि सभी देशवासियों को स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं। स्वतंत्रता हमारे लिए सिर्फ एक शब्द नहीं है। यह संवैधानिक और लोकतांत्रिक मूल्यों से बुना हमारा सबसे बड़ा सुरक्षा कवच है।
राहुल गांधी ने आगे बताया कि उनके और देश के लिए आज़ादी का क्या मतलब है। उन्होंने इसे अभिव्यक्ति की शक्ति, सच बोलने की क्षमता और सपनों को पूरा करने की उम्मीद बताया है।
इस बीच कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं दी है। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र और संविधान भारत की सबसे बड़ी ढाल हैं। उन्होंने कहा कि हां, हम अपनी आखिरी सांस तक इसकी रक्षा करेंगे। खड़गे ने कहा कि सरकार के असंवैधानिक कार्यों को रोककर विपक्ष लोकतंत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
सभी देशवासियों को स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं।
हमारे लिए स्वतंत्रता सिर्फ एक शब्द नहीं – संवैधानिक और लोकतांत्रिक मूल्यों में पिरोया हुआ हमारा सबसे बड़ा सुरक्षा कवच है।
यह शक्ति है अभिव्यक्ति की, क्षमता है सच बोलने की और उम्मीद है सपनों को पूरा करने की।
जय हिंद। 🇮🇳 pic.twitter.com/foLmlSyJDk
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) August 15, 2024 ” data-loaded=”true”>
सभी देशवासियों को स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं।
हमारे लिए स्वतंत्रता सिर्फ एक शब्द नहीं – संवैधानिक और लोकतांत्रिक मूल्यों में पिरोया हुआ हमारा सबसे बड़ा सुरक्षा कवच है।
यह शक्ति है अभिव्यक्ति की, क्षमता है सच बोलने की और उम्मीद है सपनों को पूरा करने की।
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खड़गे ने इस बात पर चिंता जताई कि मौजूदा सरकार ने संवैधानिक और स्वायत्त संस्थाओं के साथ किस तरह से छेड़छाड़ की गई है। उन्होंने कहा कि इन संस्थाओं को सरकार के नियंत्रण में कठपुतली बना दिया गया है। जिससे लोकतांत्रिक सिद्धांतों को खतरा है।
कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने यह भी पूछा कि मोदी ने बांग्लादेश में हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए क्या कदम उठाए हैं। यह सवाल पीएम मोदी के शासन और नीतियों की आलोचना को दर्शाता है।