समाजवादी पार्टी (सपा) प्रमुख अखिलेश यादव के बेहद करीबी माने जाने वाले आरसीएल ग्रुप के चेयरमैन मनोज यादव ने मंगलवार को सपा का दामन छोड़ दिया। उन्होंने सपा में पारिवारिक कलह अधिक होने के साथ ही स्थानीय स्तर पर नेताओं द्वारा एक दूसरे की टांग खींचने का आरोप लगाया है।
बता दें कि मंगलवार को समाजवादी पार्टी ने उत्तर प्रदेश की 16 लोकसभा सीटों से उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी की है। वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले मनोज यादव के घर पर इनकम टैक्स की टीम ने छापा मारा था। यह मामला तब सुर्खियों में रहा था। इससे पहले वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले भी सीजीएसटी की विजिलेंस टीम ने उनके यहां जांच की थी।
मनोज यादव घिरोर से ब्लाक प्रमुख भी रह चुके हैं। इतना ही नहीं जिले की राजनीति में उनकी भूमिका भी काफी अहम मानी जाती है। दिसंबर 2022 में मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद मैनपुरी लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव में भी उन्होंने डिंपल यादव की मदद की थी। यादव ने अपने इस्तीफे पर लिखा है कि वह जिले के स्थानीय नेताओं की आपसी कलह और चाटुकार नेताओं के बढ़ते वर्चस्व से व्यथित होकर पार्टी छोड़ रहे हैं।