कर्नाटक विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने पीएफआई और बजरंग दल जैसे संगठनों पर बैन की बात कही है। बजरंग दल पर बैन की बात पर भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। खुद प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषणों में इसे उठाया है। वहीं दूसरी ओर कांग्रेस को अब इस मुद्दे पर समाजवादी पार्टी का साथ मिला है।
समाजवादी पार्टी प्रमुख और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने कहा है कि नफरत फैलाने वाले संगठनों पर बैन लगना चाहिए। अखिलेश यादव ने हालांकि कांग्रेस और बजरंग दल का नाम नहीं लिया है लेकिन उन्होंने भी वही बात कही है, जो कांग्रेस के घोषणा पत्र में है। कांग्रेस ने बजरंग दल और पीएफआई का नाम लेते हुए नफरत फैलाने वाले संगठनों पर बैन का वादा किया है।
अखिलेश यादव ने कहा कि देश और समाज में नफरत फैलाने वाले संगठनों पर प्रतिबंध लगाना चाहिए। एक समय था जब सरदार वल्लभ भाई पटेल ने आरएसएस पर भी प्रतिबन्ध लगाया था। ऐसे में नफरती संगठनों की कोई जगह नहीं होनी चाहिए।
अखिलेश यादव ने सीएम आदित्यनाथ के अपने भाषणों में व्हीलचेयर का जिक्र करने पर भी एतराज किया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री को व्हीलचेयर का उपहास नहीं उड़ाना चाहिए। यह अमानवीय है। बहुत सारे बीमार लोग और बुजुर्ग व्हीलचेयर का प्रयोग करते हैं। भाजपा सरकार ने तो उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था को ही व्हीलचेयर पर पहुंचा दिया है।