कर्नाटक के गृह मंत्री और कांग्रेस के बड़े नेता जी परमेश्वरा की ‘हिंदुत्व’ को लेकर की गई विवादित टिप्पणी पर केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने तीखी प्रतिक्रिया जताई है। उन्होंने उनके बयान की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि यह हिंदू आस्था पर सुनियोजित हमला है।
न्यूज एजेंसी एएनआई से राजीव चंद्रशेखर ने बुधवार को कहा, ‘जी परमेश्वरा ने बहुत ही चौंकाने वाला बयान दिया है और यह निश्चित रूप से एक पैटर्न जैसा लग रहा है और हिंदू आस्था पर योजनाबद्ध हमला है।’
मंगलवार को कर्नाटक के मंत्री और कांग्रेस नेता जी परमेश्वरा ने हिंदू धर्म की उत्पत्ति को लेकर सवाल उठाकर एक नया विवाद पैदा कर दिया है। परमेश्वरा ने कहा था, ‘सवाल है कि हिंदू धर्म का जन्म कब हुआ, इसे किसने बनाया? दुनिया के इतिहास में कई धर्मों का उदय हुआ है। जैन धर्म और बौद्ध धर्म का जन्म यहां हुआ। हिंदू धर्म का जन्म कब हुआ और इसे किसने शुरू किया यह अभी भी सवाल है।’
इसके साथ ही केंद्रीय मंत्री ने तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन के बयान को लेकर भी कांग्रेस पर तीखा वार किया और कहा है कि वह इसपर अपना स्टैंड साफ करे, क्योंकि उन्होंने सनातन धर्म को ही मिटाने का आह्वान किया है।
चंद्रशेखर ने कहा, ‘डीएमके के युवराज उदयनिधि स्टालिन कहते हैं कि मैं सनातन धर्म और हिंदू धर्म को मिटा दूंगा…..अनुच्छेद 25 प्रत्येक भारतीय को अपने धर्म के पालन का अधिकार की गारंटी देता है…..कांग्रेस और राहुल गांधी को निश्चित तौर पर बताना चाहिए कि उदयनिधि स्टालिन के बयान पर उनकी स्थिति क्या है….क्या ये वंशवादी पार्टियां मानती हैं कि भारत का संविधान सिर्फ तभी काम करता है, जब यह उनके लिए सुविधाजनक हो।’गौरतलब है कि एक ‘सनातन-विरोधी सम्मेलन’ को संबोधित करते हुए तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के बेटे उदयनिधि ने सनातन धर्म की तुलना डेंगू, मलेरिया और कोरोना वायरस से कई थी और यहां तक कहा था कि सिर्फ इसके विरोध से काम नहीं चलेगा, बल्कि इसे मिटा देना चाहिए।
बाद में कर्नाटक के एक और मंत्री और कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के बेटे प्रियांक खड़गे और पूर्व केंद्रीय गृहमंत्री और कांग्रेस नेता पी चितंबरम के बेटे और कांग्रेस सांसद कार्ति चितंबरम ने भी सनातन धर्म को लेकर बहुत ही विवादास्पद टिप्पणियां की थीं; और स्टालिन के बयान का समर्थन भी किया था।