पीएम मोदी यूएस दौरे पर हैं। ऐसे में मणिपुर हिंसा को लेकर राज्य में शांति और स्थिरता को लेकर एक सर्वदलीय बैठक बुलाई गई है। बैठक में सभी दलों से राज्य में बेहतर शांति व्यवस्था स्थापित करने की अपील की जाएगी। वहीं पीएम की देश की मौजूदगी के बिना इस बैठक के समय को लेकर सवाल खड़े गए हैं।
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने मणिपुर हिंसा के बाद शांति बहाली के लिए केंद्र के प्रयासों पर सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि राज्य में हिंसा हुए 50 दिन हो चुके हैं। हिंसा के 24 दिन बाद गृहमंत्री वहां गए और तीन दिन तक रहे, लेकिन इस दौरे का वहां कोई असर नहीं दिखा।
कांग्रेस नेता ने आगे कहा, बड़े दुख की बात है कि प्रधानमंत्री ने 50 दिनों में भी अपनी चुप्पी नहीं तोड़ी है। उन्होंने शांति कि लिए एक शब्द, बयान तक नहीं दिया। प्रधानमंत्री देश में नहीं और गृह मंत्री 24 जून को सर्वदलीय बैठक बुला रहे हैं। अगर आपको बैठक बुलानी है तो प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में बुलानी चाहिए।
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मणिपुर हिंसा को लेकर कांग्रेस नेता जयराम रमेश भाजपा नेतृत्व वाली केंद्र सरकार को लगातार घेरने की कोशिश कर रहे हैं। पिछले हफ्ते उन्होंने एक ट्वीट कर कहा था कि मणिपुर में अब तक सैंकड़ों लोगों की मौत हो चुकी है। कई घर, दुकानें चर्च जलाए जा चुके हैं। लेकिन देश के प्रधानमंत्री की ओर राज्य में शांति के लिए कोई अपील नहीं की गई।
कांग्रेस नेता ने अपने पिछले ट्वीट में लिखा, “आज से 22 साल पहले जब मणिपुर में हिंसा भड़की थी तब अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री थे। उस समय सभी पार्टियों की मांग पर दो बार सर्वदलीय बैठक बुलाई गई। प्रधानमंत्री ने शांति की अपील की थी। इस बार जब मणिपुर जल रहा है तब प्रधानमंत्री ने शांति की कोई अपील नहीं की। 10 दलों के नेता 10 जून को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को मिलने के लिए पत्र लिख चुके हैं, लेकिन आज तक समय नहीं मिला है।”