रुद्रपुर मजार विवाद: हाई कोर्ट ने 24 घंटे में मांगा जवाब, वाहनों की आवाजाही पर रोक लगाई
नैनीताल, 22 अप्रैल (हि.स.)। हाई कोर्ट ने उत्तराखंड के रुद्रपुर में एनएच पर मजार ध्वस्तीकरण के खिलाफ मेंशन की गई पुरानी याचिका पर सुनवाई के बाद याचिकाकर्ता से कहा है कि वे 24 घंटे के भीतर दो सदस्यों और मिट्टी शिफ्ट करने की भूमि का पूर्ण ब्यौरा मुहैया कराएं। न्यायालय ने ऊधमसिंह नगर जिला प्रशासन से कहा कि तब तक ध्वस्त जगह के ऊपर से वाहनों की आवाजाही पर रोक लगाई जाए। मामले की अगली सुनवाई कल यानी 23 अप्रैल दोपहर में होगी।
न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की एकलपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई। मामले के अनुसार ऊधमसिंह नगर जिले के रुद्रपुर में इंदिरा चौक के समीप बनी सैय्यद मासूम शाह मिया और सज्जाद मिया की मजार को प्रशासन ने सोमवार तड़के बुलडोजर की मदद से हटा दिया। बताया जा रहा है कि इस स्थान से आठ लेन हाईवे प्रस्तावित है। हाईवे के रास्ते में यह मजार आ रही थी। एनएचएआई (भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण) ने पहले ही संबंधित पक्ष को नोटिस जारी कर जानकारी दी थी। मजार को हटाने के लिए बुलडोजर लगाए गए और चंद घंटों में ही वहां समतल मैदान कर दिया गया।
आज मामले को लेकर याचिकाकर्ता की तरफ से अधिवक्ता ने मेंशन किया, जिसे न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की एकलपीठ ने लंच के बाद सुना। सुनवाई के दौरान ऊधमसिंह नगर के जिलाधिकारी और एसएसपी ऑनलाइन उपस्थित हुए। हाई कोर्ट में मजार हटाने को लेकर पहले से सुनवाई चल रही है। जिलाधिकारी ने न्यायालय को बताया कि इस दरगाह का नाम हजरत मासूम साह दरगाह था। ये भूमि वक्फ की भूमि नहीं है। उन्होंने कहा कि बीती दस फरवरी को एनएच ने 60 दिन पहले नोटिस दिया था और फिर दोबारा नोटिस देकर ये कार्रवाई की। ये 1960 से सड़क की दरगाह के रूप में दर्ज है। खसरा बनाने पर ये मजार दर्ज की गई थी। इसका नियमानुसार मुआवजा दिया गया है। कोर्ट ने सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता से कहा कि वो दो लोगों के आधार कार्ड, फोटो, ईमेल, फोन नंबर सहित सम्पूर्ण जानकारी दें जो मिट्टी लेकर जाएंगे। इसके अलावा 24 घंटे में शपथपत्र देकर बताएं कि वो इस मिट्टी को कहां स्थापित करेंगे। अधिवक्ता टीए खान ने कहा कि प्रशासन ने मजार ध्वस्त कर वहां कोलतार बिछा दिया और वहां ट्रैफिक चलने लगा है। उन्होंने कहा कि बीती रात तक वहां ट्रैफिक नहीं चल रहा था और तड़के सवेरे ध्वस्तीकरण के बाद ट्रैफिक चल गया। इस पर न्यायालय ने जिलाधिकारी और एसएसपी से डामरीकरण रोकने के साथ ही उस स्थल के ऊपर से ट्रैफिक की आवाजाही बंद करने को कहा। सरकारी अधिवक्ता ने न्यायालय को बताया कि इस स्थल से दो हाइवे क्रॉस करते हैं। इससे ट्रैफिक की मुश्किलें हो रही हैं।
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