रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) के प्रधानमंत्री चौधरी अनवारुल हक की भारत पर की गई टिप्पणी को लेकर उन पर निशाना साधा और कहा कि पीओके के बिना जम्मू कश्मीर अधूरा है। पाकिस्तान जम्मू कश्मीर को अस्थिर करने के लिए हर प्रयास कर रहा है। उन्होंने कहा कि भारत और पाकिस्तान के बीच 1965 में अखनूर में युद्ध हुआ था। भारत पाकिस्तानी सेना की कोशिशों को नाकाम करने में कामयाब रहा था। इतिहास में हुए सभी युद्धों में भारत ने हमेशा पाकिस्तान को हराया है।
राजनाथ सिंह ने कहा कि पाकिस्तान 1965 से अवैध घुसपैठ और आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है। हमारे मुस्लिम भाइयों ने आतंकवाद के खिलाफ लड़ते हुए अपने जीवन का बलिदान दिया है। आज भी भारत में प्रवेश करने वाले 80% से अधिक आतंकवादी पाकिस्तान से होते हैं। उन्होंने कहा कि सीमा पार आतंकवाद 1965 में ही समाप्त हो गया होता, लेकिन तत्कालीन केंद्र सरकार युद्ध में प्राप्त सामरिक लाभ को रणनीतिक लाभ में बदलने में असमर्थ रही।
राजनाथ सिंह ने कहा कि कश्मीर और देश के अन्य हिस्सों में दिलों के बीच बची-खुची दूरियां भी खत्म होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि मैं जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला को इस दिशा में उठाए जा रहे कदमों के लिए बधाई देना चाहता हूं। सत्ता में आने के बाद हमने अपने प्रयासों को जमीनी स्तर पर ला दिया है। कश्मीर हमें प्रिय है और इस पर ज्यादा स्पष्टीकरण की जरूरत नहीं है। राजनाथ ने कहा कि हमारी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता कश्मीर और देश के बाकी हिस्सों के बीच जो भी अंतर है उसे पाटना है। जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला द्वारा इस दिशा में कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि अखनूर में वेटेरन्स डे समारोह मनाया जाना इस बात को साबित करता है कि हमारे दिल में जो स्थान दिल्ली का है, वही स्थान अखनूर, कश्मीर का है।