रांची के लैंड स्कैम में ईडी ने एक और जमीन कारोबारी कमलेश कुमार को शुक्रवार को करीब छह घंटे तक पूछताछ के बाद गिरफ्तार कर लिया है।
कमलेश को एजेंसी की ओर से पूछताछ के लिए पिछले डेढ़ माह में कई समन जारी किए गए थे। लेकिन, वह हाजिर नहीं हो रहा था। लगातार छठे समन के बाद वह शुक्रवार को एजेंसी के एयरपोर्ट रोड स्थित दफ्तर पहुंचा था।
ईडी ने लैंड स्कैम को लेकर 21 जून को कांके रोड के चांदनी चौक स्थित एस्टर ग्रीन अपार्टमेंट में उसके आवास पर छापेमारी की थी। इस दौरान करीब एक करोड़ कैश और 100 से ज्यादा कारतूस बरामद किए गए थे। इसके बाद 9 और 10 जुलाई को भी एजेंसी ने उसकी पार्टनरशिप में चलने वाले कांके रिजॉर्ट में छापेमारी की थी।
इसके बाद एजेंसी ने रांची के कांके अंचल में भी दो दिनों तक दस्तावेज खंगाले थे, जिसमें यह बात सामने आई थी कि कमलेश ने अंचल कार्यालय के अफसरों की मिलीभगत से बड़े पैमाने पर जमीन के फर्जी कागजात बनाकर अवैध रूप से खरीद-बिक्री की है।
ईडी के समक्ष बड़ी संख्या में ग्रामीणों ने भी कमलेश कुमार और उसके साथियों द्वारा हथियारों के बल पर जमीन कब्जा करने का आरोप लगाते हुए बयान दर्ज कराए थे।
कमलेश कांके में बिरसा एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी की जमीन पर अवैध कब्जे के मामले में पहले जेल जा चुका है। आरोप है कि उसने दस्तावेजों में हेरफेर कर राज्य के कई पुलिस अफसरों को भी गलत तरीके से जमीन बेची थी।
एजेंसी को जानकारी मिली है कि उसने फर्जी डीड बनाकर कई ग्रामीणों की जमीन बेच दी है। कमलेश मूल रूप से जमशेदपुर के सीतारामडेरा थाना क्षेत्र का निवासी है और लगभग डेढ़ दशक से रांची में रह रहा था। उसने कुछ वर्षों तक प्रेस फोटोग्राफर और इसके बाद क्राइम रिपोर्टर के रूप में काम किया। बाद में वह जमीन के धंधे से जुड़ गया।