देश में एच3एन2 फ्लू के संक्रण के बीच कोरोना के मामले भी बढ़ रहे हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार 19 राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में संक्रमण में बढ़ोत्तरी का रुझान है। दणिक्षी राज्यों में संक्रमण दर में बढ़ी है इसलिए सरकार से ज्यादा से ज्यादा जांच पर जोर दे रही है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार अभी 19 राज्यों में संक्रमण बढ़ रहे हैं जबकि 17 राज्यों में या तो घट रहे हैं या नए मामले नहीं आए हैं। पिछले चौबीस घंटों के दौरान चार राज्यों में एक-एक मौतें भी दर्ज की गई हैं। करीब पांच हजार सक्रिय मामले इस समय मौजूदा है। एक दिन में 403 नये आने को चिंताजनक इसलिए भी माना जा रहा है क्योंकि कुछ समय पूर्व तक नए संक्रमण सौ से नीच रह गए थे।
जिन राज्यों में संक्रमण बढ़ रहा है, उनमें महाराष्ट्र, कर्नाटक, केरल, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, चंडीगढ़, दिल्ली, गोआ, गुजरात, हरियाणा, हिमाचल, जम्मू-कश्मीर, झारखंड, लद्दाख, ओडिशा, पांडिचेरी, पंजाब, राजस्थान, तमिलनाडु तथा उत्तर प्रदेश शामिल हैं। जिन राज्यों में मौते दर्ज की गई हैं, उनमें उत्तर प्रदेश, पांडिचेरी, केरल तथा हिमाचल प्रदेश शामिल हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने गुजरात समेत दक्षिण के कई राज्यों को एडवाइजरी जारी की है। लेकिन सभी राज्यों से कहा है कि वह बुखार जैसे लक्षणों वाली बीमारियों की निगरानी और जांच सुनिश्चित करें। साथ ही पांच फीसदी नमूनों की जीनोम सिक्वेंसिंग भी कराएं ताकि वायरस में किसी प्रकार के बदलाव को समय रहते पकड़ा जा सके।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार बीते सप्ताह 9-15 मार्च की अवधि के दौरान देश के नौ जिलों में संक्रमण दर दस फीसदी से ऊपर पहुंच गई है। यह जिले कोरोना के हाटस्पाट बनकर उभर रहे हैं। इनमें उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले में सबसे ऊंची 40 फीसदी संक्रमण दर पाई गई है। दूसरे नंबर पर मध्य प्रदेश का रतलाम जिला है जहां यह 18.18 फीसदी, तीसरे नंबर पर हिप्र का मंडी है जहां यह दर 15.04 फीसदी रह। शिमला में 14.84, इसके बाद मध्य प्रदेश के धार और गुजरात के बोटाद जिले हैं जहां यह दर 14.29 फीसदी दर्ज की गई है। अन्य जिलों में सोलन में 12.91, नीमच में 11.11 तथा राजस्थान के डूंगरगढ़ में संक्रमण दर 10 फीसदी दर्ज की गई है।
इसके अलावा 23 जिले ऐसे हैं जहां संक्रमण दर 5-10 फीसदी के बीच दर्ज की गई है। इनमें गोआ, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, कर्नाटक, केरल, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थान और तमिलनाडु के जिले शामिल हैं। बाकी जिलों में संक्रमण दर पांच फीसदी से नीचे है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय इन जिलों की स्थिति पर नजर रखे हुए है।