लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को नगर निकाय चुनाव के नतीजे आने से पहले अदालत से बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने सीएम योगी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग वाली याचिका को खारिज कर दिया है। दरअसल, सीएम योगी द्वारा लखनऊ में दिए गए बयान, ‘भारत हिंदू राष्ट्र और यहां का हर नागरिक हिंदू है’ से आहत होकर याची आजम राइन ने सीएम के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने वाली याचिका कोर्ट में दाखिल की थी। जिसको अब अदालत ने खारिज कर दिया है और मुख्यमंत्री को एक बड़ी राहत दी है।
बता दें कि, याची ने अपनी याचिका में कहा था कि सीएम का बयान भारतीय संविधान की प्रस्तावना में उल्लेखित धर्मनिरपेक्ष शब्द का पूरी तरह से उल्लंघन है। सीएम ने भारतीय संविधान के अनुपालन सत्यनिष्ठा से करने की शपथ ली है, सीएम का यह बयान इसी साल 16 फरवरी को विभिन्न समाचार पत्रों में प्रकाशित हुआ था। आजम राईन ने इसी बयान को लेकर ACJM कोर्ट में 156 (3) के तहत मुकदमा दर्ज कराने की अर्जी दाखिल की थी। एसीजेएम कोर्ट ने 2 मई 2023 को अर्जी खारिज कर दी थी, एसीजेएम कोर्ट के इसी फैसले को जिला जज की कोर्ट में रिवीजन अर्जी दाखिल कर चुनौती दी गई थी।
इसके बाद इस रिवीजन अर्जी के एडमिशन पर जिला जज की अदालत में बहस की गई। जिसमें डीजीसी क्रिमिनल गुलाब चंद्र अग्रहरी ने रिवीजन अर्जी पर कड़ा विरोध किया। उन्होंने कहा कि, रिवीजन अर्जी में क्षेत्राधिकार की कमी है क्योंकि घटनास्थल लखनऊ का है। उन्होंने अदालत से रिवीजन अर्जी खारिज करने की मांग की और इसे समय की बर्बादी बताया। दोनों पक्षों की ओर से अपने-अपने बयान रखे गए। अदालत ने दोनों पक्षों की बहस सुनने के इस अर्जी को खारिज कर सीएम योगी को राहत दी है।