जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के मानेसर प्रकरण पर ‘विस्फोटक’ बयान देने के बाद प्रदेश की राजनीति में भूचाल आया हुआ है। पूर्व सीएम वसुंधरा राजे सहित भाजपा के तमाम वरिष्ठ नेता मुख्यमंत्री पर हमलावर हो गए हैं। वहीं रालोपा, बसपा और आप पार्टी सहित अन्य विरोधी दल के नेताओं ने भी मुख्यमंत्री के बयान पर चौतरफा बयानी हमले तेज़ कर दिए हैं।
गौरतलब है कि आरएलपी सुप्रीमो और आप पार्टी नेता अरविंद केजरीवाल अपनी सार्वजनिक दौरों में कई बार इस बारे में खुलकर आरोप लगाते आ रहे हैं।मुख्यमंत्री के रविवार को धौलपुर की सभा में दिए गए बयानों पर पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट की ओर से फिलहाल सोमवार सुबह तक कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है। ना ही पायलट समर्थक उन विधायकों ने ही प्रतिक्रिया दी है जो मानेसर में उनके साथ थे। हालांकि ये तय माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री के अपने ही पार्टी के विधायकों पर एक बार फिर से संगीन आरोप लगाने का मामला कांग्रेस पार्टी में अंदरखाने तूल ज़रूर पकड़ेगा।
दरअसल, सीएम गहलोत ने राजनीतिक संकट के दौरान मानेसर जाने वाले सचिन पायलट और उनके समर्थक विधायकों पर सरकार गिराने में भाजपा की साजिश में शामिल होने की बात कही है। साथ ही विधायकों पर भाजपा से 10 से 20 करोड़ रुपए लेने की भी बात कही है।
सीएम अशोक गहलोत आज जयपुर में रहकर ही जनसुनवाई करेंगे। सुबह 10 बजे से शुरू होने वाली जनसुनवाई में वे विभिन्न वर्गों से मुलाक़ात करेंगे और उनके अभाव-अभियोग सुनेंगे। जानकारी के अनुसार विभिन्न प्रतिनिधिमंडल भी आज मुख्यमंत्री से मिलने मुख्यमंत्री निवास पहुंचेंगे।
इधर राजस्थान विद्युत तकनीकी कर्मचारी संघ के बैनर तले प्रदेश भर से एकत्रित तकनीकी कर्मचारी भी मुख्यमंत्री से मुलाक़ात करेंगे। ये तकनीकी कार्मिक ओपीएस सहित अन्य घोषणाओं को लेकर मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त करेंगे। इस दौरान ऊर्जा मंत्री भंवर सिंह भाटी भी मौजूद रहेंगे।
गौरतलब है कि पिछले कुछ दिनों से सीएम गहलोत विभिन्न ज़िलों के दौरे पर व्यस्त रहे। इस कारण जयपुर स्थित मुख्यमंत्री आवास पर जनसुनवाई नहीं हो सकी। मुख्यमंत्री जब भी जयपुर में होते हैं तब सोमवार को उनका अपने आवास पर नियमित जनसुनवाई का कार्यक्रम रहता है।