दिल्ली पुलिस ने किसानों के प्रस्तावित मार्च के मद्देनजर रविवार को यातायात परामर्श जारी किया, जिसमें यात्रियों को राष्ट्रीय राजधानी की तीन सीमाओं पर वाहनों की आवाजाही पर लगी पाबंदियों के बारे में सचेत किया गया है।

संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और ज्यादातर उत्तर प्रदेश, हरियाणा और पंजाब के किसान संघों ने फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी को लेकर कानून बनाने समेत अपनी मांगों को स्वीकार करने के लिए केंद्र पर दबाव बनाने के सिलसिले में 13 फरवरी को मार्च निकालने का आह्वान किया है।

परामर्श के अनुसार, वाणिज्यिक वाहनों के लिए सोमवार से यातायात पाबंदी लगाई जाएगी।

परामर्श में कहा गया है कि सिंघू बॉर्डर पर सोमवार से वाणिज्यिक वाहनों के लिए और मंगलवार से सभी प्रकार के वाहनों के लिए यातायात प्रतिबंध/मार्ग परिवर्तन लागू किया जाएगा।

परामर्श के अनुसार एनएच-44 के रास्ते सोनीपत, पानीपत, करनाल आदि की ओर जाने वाली अंतरराज्यीय बसें आईएसबीटी से मजनू का टीला, सिग्नेचर ब्रिज से खजूरी चौक, लोनी बॉर्डर से खेकड़ा होते हुए केएमपी तक जाएंगी।

राष्ट्रीय राजधानी के उत्तर पूर्वी जिले में रविवार को धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा आदेश लागू कर दी गई है।

पुलिस उपायुक्त (उत्तर-पूर्व) जॉय टिर्की द्वारा जारी आदेश के अनुसार, ‘हमने धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा  लगाई है।

किसी को भी कानून एवं व्यवस्था की स्थिति को बिगाड़ने नहीं दिया जाएगा।’ इसके साथ ही उत्तर प्रदेश और हरियाणा के साथ लगती दिल्ली की सीमाओं पर अवरोधक लगाकर तथा 5,000 से अधिक सुरक्षाकर्मियों को तैनात किया जा रहा है।

अपनी मांगों को लेकर गौतमबुद्धनगर के किसान संगठनों ने भारतीय किसान परिषद के नेतृत्व में 8 फरवरी को दिल्ली जाने का प्रयास किया था। उन्हें रोका गया तो दिल्ली सीमा के पास नोएडा के सेक्टर-95 में किसानों ने करीब 8 घंटे तक सड़क जाम कर दी थी।

इससे नोएडा के साथ दी दिल्ली के कई इलाकों में भीषण जाम लगा था।

परिषद के अध्यक्ष सुखबीर खलीफा ने रविवार को कहा कि दिल्ली दूर नहीं है। हम 16 फरवरी को दिल्ली की तरफ कूच कर सकते हैं।

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