मोदी सरकार 3.0 में कई नये और युवा सांसदों को कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। खास तौर पर यदि सहयोगी दलों की बात की जाए तो तेलुगु देशम पार्टी के कोटे से 36 वर्षीय राम मोहन नायडू को कैबिनेट मंत्री बनाया गया है।
राम मोहन नायडू आंध्र प्रदेश की श्रीकाकुलम से लोकसभा सांसद हैं। वह तेलुगू देशम पार्टी के महासचिव होने के साथ-साथ टीडीपी के वरिष्ठ नेता रहे येरेन नायडू के बेटे हैं। तेलुगु देशम पार्टी से ही चंद्रशेखर पेम्मासानी को राज्य मंत्री बनाया गया है। वह गुंटूर सीट से लोकसभा चुनाव जीते हैं।
युवा चंद्रशेखर का यह पहला चुनाव है। चंद्रशेखर ने अमेरिका से पढ़ाई की है। उनकी कुल संपत्ति 5,700 करोड़ रुपए से ज्यादा है।
एनडीए के अन्य महत्वपूर्ण घटक दल, लोक जनशक्ति रामविलास के अध्यक्ष चिराग पासवान भी मोदी सरकार में केंद्रीय मंत्री बने हैं। सहयोगी दल जनता दल सेक्युलर के एचडी कुमार स्वामी को नरेंद्र मोदी सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। वह कर्नाटक के मांड्या से सांसद हैं। कुमार स्वामी दो बार कर्नाटक के मुख्यमंत्री रह चुके हैं। उनके पिता एचडी देवगौड़ा देश के प्रधानमंत्री रह चुके हैं।
इनके अलावा एक अन्य सहयोगी दल आरएलडी के अध्यक्ष जयंत चौधरी को भी केंद्र सरकार में मंत्री बनाया गया है। वह स्वतंत्र प्रभार वाले राज्य मंत्री बने हैं। सहयोगी दल के कोटे से शिवसेना के प्रताप जाधव और आरपीआई के रामदास आठवले राज्य मंत्री बनाए गए हैं।
अपना दल सोनोवाल की अनुप्रिया पटेल भी राज्य मंत्री बनी है। वह मिर्जापुर से सांसद हैं। हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के जीतन राम मांझी को भी केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल किया गया है। मांझी, बिहार के मुख्यमंत्री रह चुके हैं और फिलहाल अपनी पार्टी के इकलौते सांसद हैं।
उन्होंने बिहार की गया लोकसभा सीट से चुनाव जीता है। वह पहली बार केंद्रीय मंत्री बने हैं। मांझी के उपरांत जनता दल यूनाइटेड के कोटे से राजीव रंजन सिंह उर्फ लल्लन सिंह ने केंद्रीय मंत्री की शपथ ली है। मुंगेर से लोकसभा चुनाव जीते लल्लन सिंह, नीतीश कुमार के करीबी नेताओं में हैं। वह जदयू के अध्यक्ष भी रह चुके हैं।