कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने शनिवार को उत्तर प्रदेश में धार्मिक भेदभाव के आधार पर एक क्लास टीचर द्वारा अन्य बच्चों से एक छात्र की पिटाई कराने की घटना की निंदा करते हुए इसे BJP-RSS की नफरत भरी राजनीति का परेशान करने वाला परिणाम बताया।

उन्होंने कहा कि ऐसी घटनाएं देश की वैश्विक छवि को खराब करती हैं और संविधान के खिलाफ हैं।

एक्स, पूर्व ट्विटर पर खड़गे ने कहा, ”यूपी के एक स्कूल में जिस तरह धार्मिक भेदभाव के आधार पर एक शिक्षिका ने एक बच्चे को दूसरे बच्चों से पिटवाया, वह बीजेपी-आरएसएस की नफरत भरी राजनीति का परेशान करने वाला नतीजा है। ऐसी घटनाएं हमारी वैश्विक छवि को धूमिल करती हैं। ये संविधान के खिलाफ है।”

उन्होंने कहा, ”सत्ताधारी दल की विभाजनकारी सोच का जहर समाज में इस कदर फैल चुका है कि एक ओर शिक्षा अध्यापिका तृप्ता त्यागी बचपन से ही धार्मिक नफरत का पाठ पढ़ा रही हैं तो दूसरी ओर सुरक्षा देने वाले आरपीएफ जवान चेतन कुमार धर्म के नाम पर निर्दोष लोगों की हत्या कर रहा है। जान लेने पर उतारू हो जाते है।”

राज्यसभा में विपक्ष के नेता ने कहा, “किसी भी प्रकार की धार्मिक कट्टरता और हिंसा देश के विरुद्ध है। दोषियों को छोड़ना देश के खिलाफ अपराध है। इसकी जितनी निंदा की जाए कम है। इस मामले में तुरंत कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए और सजा दी जानी चाहिए, ताकि कोई और इस तरह का जहर मिलाने से पहले सौ बार सोचे।”

उनकी टिप्पणी एक वायरल वीडियो के बाद आई है जिसमें मुजफ्फरनगर में एक स्कूल शिक्षिका हिंदू छात्रों से क्लास के अंदर एक अल्पसंख्यक बच्चे को थप्पड़ मारने के लिए कह रही है।

पुलिस ने वीडियो पर स्वत: संज्ञान लेते हुए मामले की जांच शुरू कर दी है। बाद में, बच्चे के पिता ने मीडियाकर्मियों को बताया कि उन्होंने मामले में समझौता कर लिया है और कोई मामला आगे नहीं बढ़ाना चाहते हैं।

उन्होंने मीडिया से कहा, “हमने मामला नहीं उठाने का फैसला किया है। स्कूल ने हमारी फीस वापस कर दी है। हमारा बच्चा उस स्कूल में नहीं जाएगा, हमने फैसला किया है।”

मुजफ्फरनगर पुलिस ने यह भी दावा किया कि यह वीडियो मुजफ्फरनगर के गांव खुब्बापुर के एक स्कूल का है।

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