बहराइच जिले के महाराजगंज में हुई सांप्रदायिक हिंसा में पुलिस ने वीडियो फुटेज से चिह्नित 2 और फरार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है, जिसके बाद दोनों पक्षों से गिरफ्तार कुल आरोपियों की संख्या बढ़कर 115 हो गई है। पुलिस की एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। इस हिंसा के दौरान पुलिस को मिले एक हजार से अधिक वीडियो फुटेज की वैज्ञानिक जांच के लिए आईटी विशेषज्ञ पुलिस की ‘‘विशेष टीम” का गठन कर वीडियो फुटेज जांच के लिए अलग नियंत्रण कक्ष स्थापित किया गया है।

पुलिस अधीक्षक (एसपी) वृंदा शुक्ल ने रविवार देर शाम  एक न्यूज एजेंसी को बताया कि 13 अक्टूबर को रामगोपाल मिश्र हत्याकांड में फरार चल रहे दो नामजद अभियुक्तों मारूफ और ननकऊ को रविवार को पुलिस ने गिरफ्तार किया। इसके अलावा वीडियो फुटेज से पहचान में आए 14 अक्टूबर को आगजनी व लूटपाट के आरोपी सुशील द्विवेदी व मन्नू नामक दो युवकों को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया है। 13 व 14 अक्टूबर की साम्प्रदायिक हिंसा से जुड़े मामलों में अब तक दोनों पक्षों से 115 गिरफ्तारियां हो चुकी हैं।

पुलिस अधीक्षक ने बताया कि 13 व 14 अक्टूबर को हरदी थाना अंतर्गत कस्बा महराजगंज से प्रारम्भ होकर जनपद के विभिन्न क्षेत्रों में होने वाली घटनाओं के सम्बन्ध में आवश्यक साक्ष्य संकलन तथा आगे की विधिक कार्रवाई के लिए ग्यारह सदस्यीय ‘विशेष टीम’ का गठन कर पुलिस लाइन में एक नियंत्रण कक्ष बनाया गया है, जो मीडिया कर्मियों तथा जनपद वासियों के पास उपलब्ध अधिक से अधिक वीडियो तथा अन्य साक्ष्य एकत्रित करेगी। उन्होंने कहा कि इससे आपराधिक कृत्य करने वाले सभी व्यक्तियों की पहचान की जा सकेगी और उनके खिलाफ विधिक कार्रवाई की जा सकेगी।

एसपी ने बताया कि 11 सदस्यीय इस विशेष टीम के गठन के लिए हमने विभाग में मौजूद बीटेक-एमटेक डिग्री धारक साइबर व सूचना प्रौद्योगिकी के जानकार अधिकारियों एवं कर्मियों का चयन किया है। इस विशेष दल का नेतृत्व प्रशिक्षु पुलिस उपाधीक्षक राज सिंह करेंगे। टीम में उनके साथ दो इंस्पेक्टर, तीन सब इंस्पेक्टर तथा पांच आरक्षी स्तर के पुलिसकर्मी शामिल हैं। टीम में शामिल टीम लीडर उपाधीक्षक राज सिंह, दो इंस्पेक्टर, तीन सब इंस्पेक्टर व दो कांस्टेबल बी.टेक. या एम.टेक. डिग्री धारक हैं, उक्त सभी तथा अन्य पुलिस कर्मी साइबर विशेषज्ञ हैं। एसपी ने बताया कि यह टीम सभी घटनाओं एवं कार्रवाई के सम्बन्ध में सम्पूर्ण प्रदेश में छपने वाले समाचार सूत्रों, विभिन्न ऑनलाइन पोर्टल, सोशल मीडिया तथा उपलब्ध वीडियोज को एकत्रित करेगी, सम्बन्धित थानों से सहयोग लेते हुए अभियुक्तों को चिह्नित कर उन्हें डिजिटल रूप में सुरक्षित करेगी। यह नियंत्रण कक्ष पुलिस लाइन स्थित सभागार कक्ष में अग्रिम आदेश तक संचालित होगा और करेगा।

एसपी ने कहा कि विशेष टीम गठन करने का मकसद है कि वीडियो साक्ष्य के सहारे घटना को लेकर मिलने वाली सूचनाओं की पुष्टि कर घटनाओं के शीघ्र अनावरण व आरोप पत्र दाखिल करने में कोई त्रुटि ना हो, साथ ही राजनैतिक या अन्य कारणों से कोई निरपराध व्यक्ति गलत तरीके ना फंस जाए। हरदी थाना अंतर्गत महाराजगंज कस्बे में 13 अक्टूबर को दुर्गा प्रतिमा विसर्जन जुलूस में डीजे पर गाना बजाने को लेकर हुए बवाल के बीच गोली चलने से रेहुआ मंसूर गांव निवासी रामगोपाल मिश्र (22) की मौत हो गई थी। इसके बाद महसी, महाराजगंज व बहराइच शहर में 13 व 14 अक्टूबर को सांप्रदायिक हिंसा फैल गई थी। लोगों ने घरों, दुकानों, शोरूम व अस्पताल आदि में तोड़फोड़ व आगजनी कर करोड़ों रुपये की सम्पत्ति का नुकसान किया। घटना में कई लोग घायल हुए। जिले का खासतौर पर महसी महराजगंज क्षेत्र का माहौल खराब हुआ था। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि जिले के हालात अब पूरी तरह से सामान्य है, महसी-महाराजगंज क्षेत्र में अब तनाव नहीं है, बैंक, बाजार व अन्य संस्थान खुल रहे हैं। लोग बाजारों में त्योहार की खरीदारी करते दिख रहे हैं। एहतियातन पर्याप्त पुलिस बल तैनात है।

 

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