गौतमबुद्ध नगर के कुख्यात गैंगस्टर अनिल दुजाना को उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स ने मेरठ में मार गिराया है। दुजाना के खिलाफ नोएडा, गाजियाबाद, मुजफ्फरनगर समेत उत्तर प्रदेश के कई जिलों में हत्या, लूट, डकैती और उगाही जैसे संगीन मामलों में मुकदमे दर्ज हैं।
कुख्यात गैंगस्टर अनिल दुजाना उर्फ अनिल नागर को एसटीएफ ने एनकाउंटर में मार गिराया है। दुजाना 10 अप्रैल को जमानत पर बाहर आया था। जेल से बाहर ही उसने गौतमबुद्ध नगर में अपने खिलाफ गवाही दे रहे लोगों को धमकियां दी थीं। एसटीएफ को जानकारी मिली थी कि वो किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में है। इसी क्रम में उसके मेरठ में छिपे होने की सूचना मिली।
जानकारी के अनुसार, मेरठ में भोला झाल पर सक्रिय होने की पुख्ता जानकारी के बाद एसटीएफ ने उसे चारो ओर से घेर लिया। इस दौरान उसने पुलिस पर फायरिंग करते हुए भागने की कोशिश की। जवाबी फायरिंग में गोली लगने से वह ढेर हो गया। दुजाना पर राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और उत्तर प्रदेश में 60 से अधिक आपराधिक केस दर्ज हैं।
बादलपुर का दुजाना गांव कभी कुख्यात सुंदर नागर उर्फ सुंदर डाकू के नाम से जाना जाता था। 70 और 80 के दशक में सुंदर का दिल्ली-एनसीआर में खौफ था। उसने तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी तक को जान से मारने की धमकी दे दी थी। इसी दुजाना गांव का है अनिल नागर उर्फ अनिल दुजाना। पुलिस रिकॉर्ड में 2002 में गाजियाबाद के कवि नगर थाने में इसके खिलाफ हरबीर पहलवान की हत्या का पहला मुकदमा दर्ज हुआ।
एडीजी यूपी एसटीएफ अभिताफ यश ने अनिल दुजाना पर बड़ा बयान दिया है। कहा कि आज यूपी एसटीएफ की 25वीं जयंती है। यूपी एसटीएफ के गठन के दिन ही हमारी मेरठ टीम ने दुर्दांत अपराधी को मार गिराया। ये बहुत बड़ी बात है। ढेर होने के सवाल पर अमिताभ यश ने कहा कि टीम हर वक्त सैकड़ों ऑपरेशन करती है, जो दुर्दांत अपराधी होते हैं, उन्हीं के साथ ही मुठभेड़ होती है।