राष्ट्रीय राजधानी में यमुना का जल स्तर शुक्रवार को एक बार फिर 205.33 मीटर के खतरे के निशान को पार कर गया।
इससे बाढ़ प्रभावित निचले इलाकों में बाढ़ पीड़ितों के पुनर्वास के प्रयासों में देरी हुई।
केंद्रीय जल आयोग (सीडब्ल्यूसी) के आंकड़ों के मुताबिक, शुक्रवार शाम छह बजे यमुना का जल स्तर 205.34 मीटर तक पहुंच गया तथा रात 11 बजे तक इसके 205.45 तक पहुंचने की संभावना है।
हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में बारिश के कारण पिछले दो-तीन दिनों में जल स्तर में मामूली उतार-चढ़ाव हुआ है। पिछले आठ दिनों से खतरे के निशान से ऊपर बहने के बाद मंगलवार की रात आठ बजे यमुना का जलस्तर खतरे के निशान से नीचे आ गया था।
यह बुधवार सुबह पांच बजे घटकर 205.22 मीटर रह गया, जिसके बाद जलस्तर में फिर से वृद्धि होने लगी और यह खतरे के निशान के ऊपर बहने लगा।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने 22 जुलाई तक उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में अलग-अलग स्थानों पर भारी से बहुत भारी बारिश की चेतावनी दी है।