जौनपुर जिले के मछली शहर कोतवाली क्षेत्र के रहने वाले एक भारतीय मछुआरे की पाकिस्तान जेल में संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक उसने आत्महत्या कर लिया है। वह पिछले 4 साल से अपने 7 साथियों के साथ पाकिस्तान जेल में बंद था। परिवार को इसकी सूचना मंगलवार को दी गई।

जौनपुर जिले के मछली कोतवाली क्षेत्र का रहने वाला घुरहू बिंद 2020 में गुजरात के ओखा बंदरगाह से समुद्र में मछली पकड़ने गया था। उसके साथ मछली शहर के 6 अन्य लोग भी थे। वह सभी पाकिस्तान जेल में अभी बंद है। मछली पकड़ने के दौरान सभी लोग गलती से समुद्री सीमा पार कर पाकिस्तान पहुंच गए थे।

पाकिस्तानी सीमा में पहुंचने पर पाक तटरक्षकों ने उन्हें पकड़ लिया। इसके बाद कराची के जेल में बंद कर दिया गया। बताया जा रहा है कि कुछ दिन पहले जेल में घुरहू की मौत हो गई। भारतीय दूतावास के जरिए घटना की जानकारी मिलते ही मत्स्य विभाग की निरीक्षक संभाशी त्रिपाठी घुरहू के घर पहुंचीं। और परिजनों से मुलाकात की। उन्होंने बताया कि मत्स्य निदेशालय लखनऊ से दूरभाष पर सूचना मिली थी, जिसके बाद वह जांच के लिए मौके पर आईं है।

जौनपुर के जिलाधिकारी डॉ दिनेश चंद्र ने बताया कि बसेरा गांव के कुछ मछुआरे गुजरात गए थे। वह सभी लोग पाकिस्तान जेल में बंद थे। यह सुना जा रहा है। कि उसने आत्महत्या कर लिया। उन्होंने कहा कि कितने लोग थे। और मृत्यु के कारण के विषय में हम कुछ नहीं बता सकते। मिनिस्ट्री ऑफ़ इंडिया का एक पत्र प्राप्त हुआ है। जिसके क्रम में घुरहू बिंद पुत्र रामानंद बिंद जिनकी मृत्यु पाकिस्तान के कराची जेल में हुई है। उनकी डेड बॉडी उनके पैतृक गांव में आ रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री से निर्देश प्राप्त है। ऐसे लोग जो गरीब हैं। जिनके पास कोई सहारा नहीं है।

शून्य पावर कॉन्सेप्ट के तहत जैसे मुझे सूचना मिली। तहसीलदार मत्स्य विभाग के अधिकारी वहां के खंड विकास अधिकारी को उनकी आर्थिक स्थिति का आकलन करने के लिए भेजा है। जो केंद्र सरकार के निर्देश हैं। जैसे ही उनकी डेड बॉडी आएगी। आवश्यकता अनुसार उनकी आर्थिक स्थिति का पूरा आकलन कर लिया गया है। मृतक के परिवार को प्रधानमंत्री आवास की सूची में उनका नाम डाल दिया गया है। विधवा पेंशन का भी फॉर्म भरवा दिया गया है। अन्य जो बच्चे हैं। उन्हें मत्स्य विभाग की योजना में तथा समाज कल्याण विभाग से विभिन्न योजनाओं का लाभ देते हुए उनकी सहायता की जाएगी। जैसे डेड बॉडी आती है। मेरे द्वारा उप जिला अधिकारी को निर्देशित किया गया है। एक सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि जैसे ही डेड बॉडी आएगी। उनको सहायता उपलब्ध कराई जाएगी।

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