दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में स्थित राव आईएएस स्टडी सर्किल में 27 जुलाई को भारी बारिश के दौरान अचानक बेसमेंट में पानी भर गया। इस समय, बेसमेंट में बनी लाइब्रेरी में कई छात्र पढ़ाई कर रहे थे। पानी का स्तर तेजी से बढ़ता गया और बेसमेंट पूरी तरह से पानी से भर गया, जिसके कारण तीन यूपीएससी एस्पिरेंट श्रेय यादव, तान्या सोनी, और नेविन डाल्विन डूब गए। दम घुटने से इन तीनों की मौत हो गई, जिसकी पुष्टि पोस्टमार्टम रिपोर्ट से की गई है।

सीबीआई ने जांच के दौरान खुलासा किया कि राव आईएएस स्टडी सर्किल के मालिक ने जानबूझकर बेसमेंट का उपयोग लाइब्रेरी के लिए किया था, जो कि दिल्ली नगर निगम (MCD) द्वारा अनुमोदित उपयोग के नियमों का उल्लंघन था। सीबीआई ने आरोप लगाया कि बिल्डिंग मालिक और कोचिंग संस्थान के मालिक ने बेसमेंट को व्यावसायिक उद्देश्य के लिए उपयोग करने पर सहमति व्यक्त की थी, जो कि इमारत के स्वीकृत उपयोग के विपरीत था।

आरोपों की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए, केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने विशेष अदालत से अनुरोध किया है कि राव आईएएस स्टडी सर्किल के मालिक अभिषेक गुप्ता और अन्य आरोपियों—देशपाल सिंह, हरविंदर सिंह, परविंदर सिंह, सरबजीत सिंह, और तजिंदर सिंह—को हिरासत में लेकर पूछताछ करने की अनुमति दी जाए। ये आरोपी वर्तमान में न्यायिक हिरासत में हैं। शनिवार, 31 अगस्त को अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट निशांत गर्ग ने आदेश दिया कि सभी छह आरोपियों को 4 सितंबर तक सीबीआई की हिरासत में रखा जाए।
जांच एजेंसी ने अदालत को यह भी बताया कि कोचिंग संस्थान ने 2023 में दिल्ली हाई कोर्ट द्वारा उठाई गई फायर सेफ्टी सर्टिफिकेट की चिंताओं के बावजूद लगभग एक साल तक बिना मान्यता प्राप्त सर्टिफिकेट के काम किया था। इस मुद्दे को ध्यान में रखते हुए, सीबीआई ने विशेष अदालत से आरोपियों की हिरासत में पूछताछ की अनुमति मांगी है ताकि मामले की पूरी गहराई से जांच की जा सके।

सीबीआई की जांच में यह भी सामने आया कि नगर निगम दिल्ली (MCD) ने 9 अगस्त 2021 को राव आईएएस स्टडी सर्किल की इमारत के लिए अधिभोग प्रमाणपत्र (Occupancy Certificate) जारी किया था। इस प्रमाणपत्र में स्पष्ट रूप से कहा गया था कि बेसमेंट का उपयोग केवल पार्किंग, स्टोरेज और अन्य गैर-वाणिज्यिक उद्देश्यों के लिए किया जाएगा। इसके बावजूद, कोचिंग संस्थान के मालिक अभिषेक गुप्ता ने 5 जनवरी 2022 को एक नौ साल की लीज एग्रीमेंट पर हस्ताक्षर किए, जिसमें ₹4 लाख मासिक किराया तय किया गया था। इस एग्रीमेंट के अनुसार, बेसमेंट को लाइब्रेरी और परीक्षा हॉल में परिवर्तित किया गया, जो कि स्वीकृत उपयोग के नियमों का उल्लंघन था।
सीबीआई ने अदालत को सूचित किया कि ओल्ड राजेंद्र नगर क्षेत्र में अक्सर मध्यम बारिश के दौरान बाढ़ की समस्या उत्पन्न होती है, जिससे परिसर में पानी भर जाता है। इस बाढ़ की स्थिति से इमारत और उसके अंदर स्थित कोचिंग संस्थान को गंभीर नुकसान हो सकता है, जो सुरक्षा और संरचनात्मक समस्याओं को जन्म देता है।

इन सभी मुद्दों को ध्यान में रखते हुए, सीबीआई ने विशेष अदालत से आरोपियों की हिरासत में पूछताछ करने की अनुमति प्राप्त करने के लिए अनुरोध किया है। यह कदम इस मामले की पूरी गहराई से जांच करने और जिम्मेदार व्यक्तियों की पहचान करने के लिए उठाया गया है।

 

 

 

 

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