उत्तर प्रदेश में डिजिटल हाजरी का विरोध कर रहे शिक्षकों की नाराजगी दूर करने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्देश जारी किए है। उन्होंने सभी डीएम, बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) और सहायक बेसिक शिक्षा अधिकारी (एबीएसए) के साथ मिलकर शिक्षकों व शिक्षक प्रतिनिधियों से संवाद करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारी शिक्षकों से बात करे और उसकी रिपोर्ट मुख्यालय भेजी जाए। सीएम ने समाधान निकालने के निर्देश जारी किए है।

बता दें कि अपने निर्देश में सीएम योगी ने यह भी कहा कि विद्यालयों में पठन-पाठन सुचारू रूप से चलता रहे, यह भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए। इससे पहले भी सीएम ने विभागीय अधिकारियों को शिक्षकों से वार्ता कर समाधान निकालने के निर्देश दिए हैं।

दरअसल, प्रदेश सरकार द्वारा 8 जुलाई को परिषदीय विद्यालयों में सभी पत्रावलियों के डिजिटल करने व उपस्थिति ऑनलाइन करने का आदेश हुआ है, जिसको लेकर सभी शिक्षक संघ भारी विरोध के साथ आंदोलनरत हैं, लेकिन सरकार के रुख को देखते हुए प्रांतीय स्तर पर सभी शिक्षक संघ, शिक्षा मित्र संघ, अनुदेशक संघ, और कर्मचारी संघों ने एक साथ आकर ‘शिक्षक, शिक्षामित्र,अनुदेशक, कर्मचारी संयुक्त मोर्चा उप्र’ के बैनर तले एकजुट होकर संघर्ष का ऐलान किया है जिसके क्रम में सोमवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नाम संबोधित ज्ञापन जिलाधिकारी के माध्यम से दिया गया। इसके बाद सीएम योगी ने यह निर्देश जारी किए है।

संयुक्त मोर्चा के संयोजक ने बताया कि हमारी मांग है कि सरकार बिना शर्त ऑनलाइन उपस्थिति आदेश को तत्काल प्रभाव से निरस्त करें, शिक्षक कर्मियों को 30 ई.एल., हाफ डे सी.एल, एवं प्रतिकर अवकाश प्रदान किया जाए,समस्त शिक्षक कर्मचारी की पुरानी पेंशन बहाल की जाए, वर्षों से लंबित पदोन्नति प्रक्रिया पूर्ण किया जाए शिक्षामित्र अनुदेशक को नियमित किया जाए व उन्हें सम्मानजनक मानदेय दिया जाए परिषदीय शिक्षकों को गैर शैक्षणिक कार्यो से दूर रखा जाए।

 

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