उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने जैसलमेर दौरे के दौरान दूसरे दिन 154 बीएसएफ बटालियन के प्रहरी सम्मेलन में जवानों को संबोधित किया।
इस दौरान उन्होंने जवानों और उनके परिजनों का हौसला बढ़ाया। बीएसएफ के डीजी नितिन अग्रवाल ने उन्हें स्मृति चिन्ह भेंट किया। वहीं, बाबा प्रेजिडेंट अश्मिता अग्रवाल ने उपराष्ट्रपति की पत्नी डॉ. सुदेश धनखड़ को फूड पैकेट भेंट किया।
उपराष्ट्रपति ने बीएसएफ के प्रहरियों और उनके परिवारजनों के साथ फोटो सेसन भी करवाया। उन्होंने बीएसएफ परिसर में पौधारोपण कर पर्यावरण संरक्षण और अधिक से अधिक पौधे लगाने का संदेश दिया। इसके अलावा उन्होंने बीएसएफ के अधिकारियों से मुलाकात कर संवाद किया और बीएसएफ की स्मृति चिन्ह को सिर पर लगाकर सैल्यूट किया।
जवानों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि बीएसएफ सीमाओं पर प्रथम पंक्ति में खड़े रहकर सुरक्षा का जिम्मा संभाल रही है। बीएसएफ की सेवा को मैं सलाम करता हूं, बीएसएफ सीमा पर तैनात है इसलिए हर भारतवासी सुरक्षित है। बीएसएफ के कारण हर कोई निडरता से जी रहा है, बीएसएफ की सजगता के चलते देश के दुश्मन अपनी नापाक कोशिश में नाकाम हो रहे हैं।
उन्होंने कहा कि बीएसएफ ने कोरोना काल में अच्छा काम किया, पर्यावरण संरक्षण को लेकर बीएसएफ का हर जवान सजग है। आपकी वजह से हर भारतवासी सुरक्षित वातावरण में सोता है। आपके धैर्य और पराक्रम का परिणाम है कि प्रत्येक भारतीय निर्भय और निश्चिंत होकर देश के विकास में लगा हुआ है। जितनी प्रगति देश में हो रही है, उसके मूल में आप हैं।
उन्होंने कहा कि बीएसएफ के जवान तपतपाती धूप, चारों तरफ का वातावरण, चुनौतीपूर्ण पड़ोसी के साथ काम करते हैं। आपको पलक झपकने की भी फुरसत नहीं है। यह सजगता मैंने खुद आंखों से देखी है। हिमालय की ऊंची पहाड़ियां, थार का तपता हुआ रेगिस्तान, पूर्वोत्तर के घने जंगल, दल-दल से भरे रण-क्रीक में सीमा सुरक्षा बल के जवानों की जो मुस्तैदी है, वह किसी भी पुरुषार्थ के लिए अनुकरणीय है, बेमिसाल है। हर पल आप अपने मोटो ‘जीवन पर्यंत कर्तव्य’ को चरितार्थ करते हैं।
गौरतलब है कि उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ गुरुवार को दिल्ली से विशेष विमान से जैसलमेर पहुंचे। जैसलमेर पहुंचने के बाद हेलीकॉप्टर से तनोट पहुंचकर राय माता के दर्शन कर खुशहाली की कामना की।