जम्मू-कश्मीर के रामबन जिले व इसके आसपास के क्षेत्र में रविवार सुबह 3 से साढ़े 3 बजे के दौरान जब लोग गहरी नींद में सो रहे थे तो इसी दौरान बादल फटने के रूप में कुदरत का कहर लोगों को कभी न भूलने वाला दर्द दे गया। किसी को ज्यादा नुकसान हुआ तो किसी को कम, लेकिन कुदरत की मार से कोई नहीं बच पाया। सैंकड़ों की संख्या में मवेशी भी मारे गए। पल भर में जिंदगी भर की कमाई से बनाए गए आशियाने उजड़ गए। रामबन के केला मोड़ में भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग
प्राधिकरण की सुरंग में मलबा भर गया है और गाड़ियां मलबे में दब गई हैं। जम्मू-श्रीनगर राजमार्ग के रामबन खंड में कई वाहनों के बहने की आशंका जताई जा रही है।
रामबन के मुख्य बाजार संगलदान, पोली बाजार में भी कई मकान और दुकानों के अलावा होटल आदि भी क्षतिग्रस्त हो गए हैं। सबसे ज्यादा नुकसान धर्मकुंड इलाके में हुआ है। इस क्षेत्र में 40 से 50 मकान बह गए हैं या पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हुए हैं। 20 से 25 मकानों को आंशिक नुकसान पहुंचा है।
जिला विकास आयुक्त बसीर उल हक का कहना है कि 3 लोगों की मौत हुई है। बचाव दल ने 200 से ज्यादा लोगों को सुरक्षित बचाया है और उनके रहने व खाने-पीने की व्यवस्था की गई है। नुकसान का आकलन किया जा रहा है और बचाव अभियान जारी है।
असगर पुत्र नजम दीन, फरीद अहमद पुत्र गुलशार, शब्बीर अहमद पुत्र अब्दुल गनी, सुदर्शन पुत्र संत राम, नसीम खान पुत्र गुलशार अहमद, शकील अहमद पुत्र असगर अली, रुस्तम अली पुत्र अली, तेज राम पुत्र बालक राम, मुश्ताक अहमद पुत्र मोहम्मद हुसैन, मोहम्मद अशरफ पुत्र अब्दुल रहमान, दर्शन सिंह पुत्र हरनाम सिंह, लाल सिंह पुत्र बालक राम, पूरण सिंह पुत्र संसार चंद, सीता राम, अब्दुल करीम पुत्र असगर अली, हीना पुत्री अब्दुल लतीफ, पंजाब सिंह पुत्र शंका राम, तेज राम बाली पुत्र ढोलू राम, प्रीतम सिंह पुत्र रूप चंद, मोहम्मद अली पुत्र कालू, बलदेव सिंह पुत्र सोरानो चंद, इम्तियाज अहमद पुत्र गुलाम मोहम्मद, मुख्तयार अहमद पुत्र फतेह मोहम्मद, पंजाब सिंह पुत्र हंजाह, देवराज पुत्र चंदमल, रेहारिया, बुद्धी सिंह पुत्र संसार चंद, कृष्ण सिंह पुत्र पूर्ण सिंह, संदीप सिंह पुत्र शंकर दास, निजामदीन पुत्र फतेह मोहम्मद, रोशन बाली पुत्र दुल्ला, शंभू पुत्र नानक चंद, दिलशाद पुत्री अब्दुल लतीफ शामिल हैं। एक मंदिर और कई सरकारी भवनों को भी नुकसान पहुंचा है।
जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर कैफेटेरिया मोड़, केला मोड़ पर हालात खराब, कई वाहन बहे
जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर रामबन खंड में बादल फटने से पहाड़ों से मलबा नीचे आने से कैफेटेरिया मोड़ और केला मोड़ पर कई वाहन दब गए हैं और कई वाहनों के चिनाब दरिया में बह जाने की आशंका जताई जा रही है। हालांकि अधिकारियों के अनुसार खराब मौसम की चेतावनी होने के चलते वाहनों से यात्रियों व चालकों आदि को पहले ही सुरक्षित निकलने के कहा गया था। अब प्रशासन यह सुनिश्चित करने में जुटा हुआ है कि कहीं मलबे में दबे वाहनों में कोई व्यक्ति तो नहीं है।
रामबन में अमरनाथ यात्रियों की सराय, सरकारी भवनों में ठहराए पीड़ित परिवार
क्षतिग्रस्त हुए मकानों से बचाए गए करीब 350 लोगों को प्रशासन ने रामबन में श्री अमरनाथ यात्रियों के लिए बनाई गई सराय के अलावा सरकारी भवनों में ठहराया है। खाने, पीने और ठहरने की व्यवस्था की गई है।
उप -मुख्यमंत्री, डी.सी. ने मौके पर जाकर हालात का लिया जायजा
उप-मुख्यमंत्री सुरेंद्र चौधरी और जिला विकास आयुक्त बसीर उल हक ने रामबन में मौके पर जाकर हालात का जायजा लिया। उन्होंने पीड़ित परिवारों को आश्वासन दिया कि सरकार उनकी हर संभव मदद करेगी। उन्होंने प्रशासनिक अधिकारियों को निर्देश दिए कि पीड़ित परिवारों को खाने-पीने व अन्य बुनियादी सुविधाओं के लिए परेशान न होना पड़े इसके लिए पर्याप्त व्यवस्था की जाए।
कुदरत के कहर में इन लोगों ने गंवाई जिंदगी
इस प्राकृतिक कहर में रामबन के गांव सेरीबागना के मुनी राम पुत्र मेहंत सिंह, 12 वर्षीय साकिब व 14 वर्षीय आकिब की मौत हो गई है। साकिब और आकिब दोनों सगे भाई थे।